शुक्रवार, 8 जुलाई 2011

AAUO DOSTO

आओं दोस्तों एक बार फिर मिलकर.
वक़्त को जिया करेंगे.
साथ बैठ के पैग दो पैग पिया करेंगे.
अपनी यादो की फटी पुरानी कमीज़ को बातो के धागों से सिया करेंगे.
साथ बैठ के पैग दो पैग पिया करेंगे.
शुन्य सी ख़ामोशी को तोड़ के.
परेशानी की रेट सी दीवारों को फोड़ कर.
बर्फ को पैग मे डूबा कर.
मस्ती के पंख लगा कर हवा मे परिदो से खुला उड़ा करेंगे.
साथ बैठ के हम अपने पुराने समय को जिय्या करेंगे.
आओं दोस्तों साथ बैठ के हम बातो की बकेतिया किया करेंगे.

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